देहरादून। नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी जी का आदि कैलाश, गौरीकुंड, बागेश्वर और पिथौरागढ़ का भ्रमण-दर्शन कार्यक्रम विशुद्ध रूप से राजनीतिक दौरा सिद्ध हुआ इस दौरे से उत्तराखण्ड को कुछ हासिल नहीं हुआ। उन्होंने कहा कि, कुमाऊँ के लोगांे को प्रधानमंत्री अपने पद और कद के अनुसार वे इस दौरे में पूर्व में स्वीकृत टनकपुर- बागेश्वर रेल मार्ग सहित सामरिक-राष्ट्रीय और राज्य के महत्व की कुछ बड़ी परियोजनाओं की आधारशिला रखते लेकिन कुमाऊं के लोगों को इस मामले में निराशा हाथ लगी। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि, बहुप्रतिक्षित टनकपुर-बागेश्वर रेल मार्ग सहित ये सभी परियोजनाऐं कुमाऊँ ही नहीं उत्तराखण्ड और देश के विकास की लाइफ लाइन साबित हो सकती हैं।
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि, प्रधानमंत्री जी ने केदारनाथ और बदरीनाथ के बाद अब मानस खण्ड के नाम पर कुमाऊं ही नहीं देश के लोगों की भावनाओं से खेलना शुरु कर दिया है। उन्होंने आरोप लगाया कि, पिछले 7 सालों से उत्तराखण्ड में डबल इंजन की सरकार है मोदी जी इन सालों में 06 बार केदारनाथ आ कर कई योजनाओं का शिलान्यास कर चुके हैं लेकिन आज तक भी केदारनाथ में बाबा केदारनाथ की भोग मण्डी नहीं बन पायी है। अभी भी बाबा केदारनाथ के मुख्य पुजारी, वेदपाठी और कर्मचारी बिना आवासों के रह रहे हैं। केदारनाथ के तीर्थपुरोहित सरकार से अपने भूमिधरी अधिकारों और केदारनाथ के सोने के घोटाले की जांच के लिए आंदोलन कर रहे हैं। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि, भू-बैकुठंधाम बदरीनाथ के कायाकल्प के नाम पर भी बदरीनाथ में एक नई बरबादी को आमंत्रित किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि, जब 7 सालों में 06.बार केदारनाथ और 02 बार बदरीनाथ आने के बाद भी मोदी जी, केन्द्र और राज्य सरकार अभी तक बदरी-केदार की समस्याओं का हल नहीं निकाल पाए है तो मानस खण्ड के लिए दिखाए जाने वाले सपने न जाने कब पूरे होगें । नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि, मोदी जी को केदारनाथ के सोने के पीतल बनने की जांच के संबध में भी वस्तुस्थिति साफ करनी चाहिए थी क्योंकि इस विवाद से उत्तराखण्ड की पूरी दुनिया में बड़ी बदनामी हो रही है।
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि, प्रधानमंत्री जी ने अपने भाषण में कई स्थानों पर उत्तराखण्ड के सैनिकों के शौर्य का वर्णन किया। उन्होंने कहा कि, उत्तराखण्ड के युवा प्रधानमंत्री जी से अग्निवीर योजना के स्थान पर फिर से पुरानी भर्ती को बहाल करने की मांग के साथ पिथौरागढ़ गए थे परंतु उनसे मिलना तो दूर प्रधानमंत्री जी ने उनकी इस मांग पर कुछ नहीं कहा। श्री यशपाल आर्य ने आरोप लगाया कि, अग्निवीर योजना की कमियों के कारण उत्तराखण्ड के युवाओं का फौज की भर्ती से मोह भंग हो रहा है। उन्होंने आशंका व्यक्त की कि, यदि अग्निवीर योजना इसी रुप में चलती रही तो उत्तराखण्ड की सैन्य परम्परा का बड़ा नुकसान होगा।
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि, प्रधानमंत्री जी ने कहने को तो 4200 करोड़ की योजनाओं की आधारशिला रखी या शिलान्यास किया लेकिन ये सभी योजनाऐं पूर्व में संचालित योजनाऐं थी। प्रधानमंत्री जी ने 1000 करोड़ की बागवानों के लिए केन्द्र की उद्यान योजना का जिक्र किया लेकिन उत्तराखण्ड में उद्यान विभाग की इस योजना सहित सभी योजनाऐं भ्रष्टाचार की भेंट चढ गयी हैं। उद्यान विभाग के भ्रष्टाचार पर उच्च न्यायालय के हस्तक्षेप से जांच चल रही है। उन्होंने कहा प्रधानमंत्री जी ने हर घर जल योजना के अर्न्तगत 11 लाख घरों को पानी देने की बात की लेकिन उत्तराखण्ड का बच्चा- बच्चा जानता है कि, इस योजना के बाद गांवों में जो पानी आता भी था वह भी नहीं आ रहा है।
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि , उत्तराखण्ड के युवा और उनके अभिवावक नौकरियों में भ्रष्टाचार की समस्या से परेशान हैं हर परीक्षा में कोई न कोई घोटाला निकल जाता है परंतु प्रधानमंत्री जी ने इस विषय पर कुछ नहीं बोला। उन्होनें कहा कि , केदारनाथ की 2013 आपदा के बाद तत्कालीन यूपीए की मनमोहन सरकार ने तत्काल आठ हजार करोड़ रुपये का पैकेज दिया था। प्रधानमंत्री जी ने आने वाले सालों में आपदा और पुर्नवास पर 4000 करोड़ खर्च करने की बात की उन्होनंे कहा कि, हकीकत यह है कि अभी तक केन्द्र सरकार ने जोशीमठ आपदा के बाद पुर्नवास के 1000 करोड़ रुपयों का इंतजाम नहीं किया है। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि, पिथौरागढ़ के जिस धारचूला क्षेत्र में प्रधानमंत्री गए थे वह हाल के सालों में आपदा प्रभावित है लेकिन उस क्षेत्र के लिए प्रधानमंत्री जी ने कोई घोषणा नहीं की। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि, कुल मिलाकर प्रधानमंत्री जी ने इस क्षेत्र में आकर कुमाऊं याने मानस खण्ड के लोगों के लिए झूठे सपने दिखाए और उत्तराखण्ड दौरे के इस फोटो शूट का प्रयोग भाजपा पांच राज्यों में होने वाले चुनावों के लिए में प्रचार के रुप में करेगी।
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