नो पेंडेंसी के सिद्धांत के आधार पर कार्य करें अधिकारी: मुख्यमंत्री

-जनपद पौड़ी के पुराने वैभव को बनाए रखने के लिए कार्य करें सभी विभाग
-प्रतियोगी परीक्षाओं और सेना में जाने की तैयारी करने  वालों के लिए हॉस्टल का निर्माण किया जाएगा
-सभी सरकारी भवनों की छत पर सोलर पैनल और रेन वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम लगवाने के दिये निर्देश
-विकासखंड पौड़ी में किया 21 लाख रुपए की लागत वाली बेडू प्रसंस्करण यूनिट का शुभारंभ

पौड़ी/देहरादून। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने पौड़ी में विकास योजनाओं की समीक्षा की। बैठक में सीएम ने अधिकारियों को निर्देशित किया कि कोई भी विभाग अपने स्तर पर किसी भी प्रकार की पेंडेंसी ना रखें जो कार्य जिस स्तर पर होना है उसको उच्च स्तर पर अग्रसारित ना करें।  दो या दो से अधिक  विभाग के मध्य विभिन्न योजनाओं को लेकर किसी भी की उहापोह की स्थिति ना हो इसके लिए  आपसी बेहतर समन्वय से  विकास कार्यों को क्रियान्वित करें जिससे विकास कार्य किसी भी दशा में बाधित न हो। मुख्यमंत्री ने कहा कि जनपद के पुराने वैभव को बनाए रखने के लिए सभी मंडलीय अधिकारी भी नियमित रूप से मंडल मुख्यालय में रहकर अपने कार्यों को संपादित करें।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रतियोगी परीक्षाओं और सेवा में जाने की तैयारी करने वाले प्रतियोगियों के लिए हॉस्टल का निर्माण किया जाएगा।
उन्होंने सभी सरकारी भवनों पर अनिवार्य रूप से सोलर पैनल और रेन वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम लगवाने के निर्देश दिए। उन्होंने निर्देश दिए कि  विभागीय कार्य  मात्र औपचारिक नहीं होने चाहिए बल्कि उसका कुछ ना कुछ आउटकम निकलना चाहिए, इस नजरिये से कार्य करें।
उन्होंने कहा कि लोगों की समस्याओं को सुनें और उनकी जो भी आशा  होती है कोशिश करें कि उनको हम संतुष्ट कर पाएं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि वर्तमान मानसूनी सीजन के दौरान सभी कार्मिक अलर्ट मोड पर रहें तथा जहां पर भी किसी भी प्रकार की मानसून के दौरान कोई छोटी या बड़ी आपदा आती है तो तत्काल त्वरित प्रतिक्रिया के से संबंधित की हरसंभव मदद करें। मुख्यमंत्री ने आयुक्त और जिलाधिकारी को निर्देशित किया कि जो निर्माण कार्य गतिमान हैं उसकी नियमित निगरानी करते हुए उसकी प्रगति बढ़ाएं। उन्होंने सभी विभागों को निर्देशित किया कि जनपद पौड़ी में  पर्यटकों को आकृष्ट करने के लिए इन्नोवेटिव प्रयासों पर काम करें।
उन्होंने वन विभाग को प्रत्येक वर्ष समय रहते वन की आग पर  अंकुश लगाने और मानव वन्यजीव संघर्ष की रोकथाम के लिए समय रहते प्रयास करने को कहा,साथ ही सामान्य जनमानस को जल संरक्षण और प्राकृतिक संसाधनों के संरक्षण के प्रति जागरूक करने के लिए व्यापक पैमाने पर प्रचार – प्रसार करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि आगामी हरेला पर्व पर केवल वृक्षारोपण ही ना करें बल्कि पेड़ को बचाने का भी संकल्प ले।
उन्होंने निर्देश किए दिए  कि सभी विभाग अपने-अपने विभागीय योजनाओं का अधिक से अधिक लाभ दिलाने के लिए दुरस्त क्षेत्र में शिविर लगाकर लोगों को विभिन्न योजनाओं की जानकारी दें, उनके आवेदन भरें और नियमित रूप से लोगों से संपर्क रखें तथा बीडीसी और तहसील दिवस की बैठकों में भी लोगों को विभिन्न योजनाओं की जानकारी दें।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हम चारधाम और पर्यटकों के अधिक बाहुल्य  क्षेत्र से सटे स्थानों को भी पर्यटन की दृष्टि से विकसित करने की प्रेरणा से कार्य कर रहे हैं। इस दौरान कैबिनेट मंत्री डॉ धन सिंह रावत और सतपाल महाराज तथा माननीय विधायकगणों ने भी प्रदेश और जनपद के विकास कार्यों के संबंध में अपने बहुमूल्य सुझाव साझा किए। इसके उपरांत मुख्यमंत्री ने विकासखंड कार्यालय पौड़ी के समीप 21 लाख की सहायता से बने पहाड़ी अंजीर(बेड़ू) प्रसंकरण इकाई का लोकार्पण किया। जिसका संचालन उमंग स्वायत्त सहकारिता पौड़ी द्वारा किया जा रहा है। उन्होंने इकाई में बेड़ू से बनाये जा रहे उत्पादों का जायजा लिया तथा इस तरह के अनूठे प्रयास की सराहना की। बैठक में कैबिनेट मंत्री डॉ धन सिंह रावत,  सतपाल महाराज(ऑनलाइन), जिला पंचायत अध्यक्ष शांति देवी, विधायक पौड़ी राजकुमार पोरी, विधायक यमकेश्वर रेनू बिष्ट, विधयक लैंसडौन महंत दिलीप रावत, आयुक्त गढ़वाल विनय शंकर पाण्डेय, मुख्य वन संरक्षक नरेश कुमार, पुलिस महानिरीक्षक गढ़वाल करण सिंह नगन्याल, गौ सेवा आयोग के अध्यक्ष राजेंद्र अन्थवाल, डीएम पौढ़ी डॉ आशीष चैहान, एसएसपी लोकेश्वर सिंह, सीडीओ अपूर्वा पांडेय सहित ब्लॉक प्रमुख, अन्य जनप्रतिनिधि व अधिकारीगण उपस्थित थे।

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